उत्तराखंड चारधाम देवस्थानम प्रबंधन बोर्ड के गठन के बाद से ही बोर्ड का विरोध किया जा रहा है। तो वहीं, पिछले 5 दिनों से देवस्थानम बोर्ड के खिलाफ तीर्थ पुरोहित संतोष त्रिवेदी, केदारनाथ मंदिर के सामने शीर्षासन कर विरोध जता रहे हैं। तो वहीं कई तीर्थ पुरोहितों ने उपवास रखकर देवस्थानम बोर्ड को भंग करने की मांग की है।
देवस्थानम प्रबंधन बोर्ड को भंग किए जाने की मांग को लेकर लंबे समय से तीर्थ पुरोहित विरोध कर रहे हैं लेकिन अभी तक राज्य सरकार ने देवस्थानम बोर्ड को लेकर कोई फैसला नहीं लिया है। इसी क्रम में देवस्थानम बोर्ड को भंग करने की मांग को लेकर केदारनाथ धाम में तीर्थ पुरोहित उपवास रखकर विरोध जता रहे हैं। साथ ही तीर्थ पुरोहित संतोष त्रिवेदी ही 15 जून से देवस्थानम बोर्ड को भंग करने के लिए शीर्षासन कर विरोध जताया।
वर्तमान समय में प्रदेश भर के कई हिस्सों में भारी बारिश से की जा रही है तो वही भारी बारिश और ठंड के बीच आचार्य संतोष त्रिवेदी अर्धनग्न होकर शीर्षासन कर विरोध कर रहे है। हालांकि, तीर्थ पुरोहित संतोष त्रिवेदी हर दिन आधा घंटे सुबह, दिन और शाम को शीर्षासन करके सरकार से देवस्थानम बोर्ड को भंग करने की मांग कर रहे हैं।
आचार्य संतोष त्रिवेदी के अनुसार देवस्थानम बोर्ड का गठन करना सरकार की सबसे बड़ी गलती है। उनका ये निर्णय उन्हें बहुत भारी पड़ेगा। केदारनाथ में अन्य तीर्थ पुरोहितों ने देवस्थानम बोर्ड के विरोध में उपवास जारी रखा है। उनका कहना है कि जब तक सरकार बोर्ड को भंग नहीं करती, तब तक आंदोलन जारी रहेगा. दूसरी तरफ देवस्थानम बोर्ड के विरोध में चारों धामों के तीर्थ पुरोहित सरकार के खिलाफ आंदोलन छेड़े हुए हैं.