आगामी सितंबर महीने से कोरोना संक्रमण की तीसरी लहर की आशंका जताई जा रही है। हालांकि, वैज्ञानिकों के अनुसार तीसरी लहर बच्चों के लिए काफी खतरनाक साबित हो सकती है। लेकिन उत्तराखंड राज्य में दूसरी लहर के दौरान है बच्चों में संक्रमण का खतरा बढ़ता जा रहा है। या फिर यू कहे कि उत्तराखंड राज्य में दोषी लहर के दौरान ही तीसरी लहर ने दस्तक दे दी है। क्योंकि स्वास्थ्य विभाग के आंकड़ों पर गौर करें तो 19 मई तक 19 साल तक के 28,730 बच्चे कोरोना की चपेट में आ चुके हैं।
लिहाजा, इस बात सही अंदाजा लगाया जा सकता है कि राज्य में दूसरी लहर के दौरान ही अगर 28,730 बच्चे संक्रमण की जद में आ चुके हैं ऐसे में तीसरी लहर के दौरान प्रदेश की स्थिति क्या होगी। नवजात से लेकर 9 साल तक के 5444 बच्चे अभी तक कोरोना संक्रमण की जद में आ चुके हैं। तो वही 10 साल की उम्र से लेकर 19 साल तक की उम्र के 23,286 किशोर संक्रमित हो चुके हैं। तो वही, यह मामला लगातार बढ़ता जा रहा है। नवजात से लेकर किशोर लगातार कोरोना संक्रमण की जद में आते जा रहे हैं।
कोरोना संक्रमण का पहला मामला राज्य में पिछले साल मार्च महीने में सामने आया था। जिसके एक साल बीत जाने पर यानी 31 मार्च तक प्रदेश में बच्चों और किशोरों के बीच संक्रमण के कुल 10,740 मामले सामने आए थे। लेकिन जैसे ही प्रदेश में कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर ने दस्तक दी बच्चों और किशोरों में संक्रमण का मामला बढ़ने लगा। जिसका नतीजा यह हुआ कि 1 अप्रैल से लेकर 19 मई के बीच प्रदेश में 17,990 बच्चों और किशोरों में संक्रमण के मामले देखे गए। यानी वर्तमान स्थिति यह है कि 28,730 नवजात और किशोर अब तक संक्रमित हो चुके हैं।
गौर हो कि दूसरी लहर में सबसे ज्यादा संक्रमित 30 साल से 39 साल तक के लोग हुए हैं। राज्य में अब तक 72,114 से ज्यादा लोग इस उम्र के संक्रमित हो चुके हैं। चिंता की बात यह भी है कि 90 साल से ज्यादा उम्र के 292 बुजुर्गों में भी यह संक्रमण पाया गया है। वैसे राज्य में दूसरे नंबर पर सबसे ज्यादा संक्रमित 20 साल से लेकर 29 साल के युवा हैं। ऐसे संक्रमित युवाओं की संख्या 66,305 से ज्यादा है।